नई दिल्ली: ईरान और इजराइल के बीच पिछले 5 दिनों से तनातनी है. दोनों देश एक दूसरे पर लगातार ड्रोन और मिसाइल से हमले कर रहे हैं. ईरान में फंसे भारतीय छात्रों को वापस अपने देश लाने के लिए वायु सेना अलर्ट पर है.
भारतीय वायु सेना के एक अधिकारी ने बताया कि वह ईरान में फंसे भारतीय छात्रों को बहार निकालने के लिए पूरी तरह तैयार हैं और केंद्र सरकार से हरी झंडी मिलने की प्रतीक्षा कर रहे हैं
हरी झंडी मिलने के बाद शुरू करेंगे कार्रवाई
वायुसेना के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि हम पूरी तरह तैयार हैं. जैसे ही हमें हरी झंडी मिलेगी, हम कार्रवाई शुरू कर देंगे. उन्होंने कहा कि यह मिशन उस स्थान पर निर्भर करेगा जहां भारतीय नागरिक या छात्र सुरक्षित रूप से इकट्ठे हो सके और विदेश मंत्रालय (MEA) से क्लियरेंस मिल जाए.
संख्या के तहत होगा कार्य
अधिकारियों ने ईरान से भारतीय छात्रों को वापस लाने की बात को लेकर कहा कि यह मिशन ईरान में फंसे छात्रों की संख्या पर भी निर्भर करेगा. उन्होंने बताया कि यदि यात्रियों की संख्या कम होती है तो मीडियम साइज C-130J विमान भेजा जाएगा, और अगर बड़ी संख्या में लोग होते हैं तो भारी मालवाहक विमान C-17 ग्लोबमास्टर ईरान भेजा जाएगा और सभी भारतीयों को वापस लाया जाएगा.
अधिकारियों का कहना है कि भारतीय वायुसेना फिलहाल स्टैंड बाय मोड पर है और स्थिति पर नजर बनाए हुए है. विदेश मंत्रालय और रक्षा मंत्रालय के बीच समन्वय के बाद जल्द ही कोई निर्णय लिया जा सकता है.
ईरान में हजारों की संख्या में भारतीय
बताया जा रहा है कि ईरान में करीब 10,000 से भी ज्यादा भारतीय हैं, जो इस युद्ध के दौरान वहां फंस गए हैं. इसमें से अधिकतर लोग जम्मू-कश्मीर के हैं, जो पढ़ने के लिए ईरान गए थे. भारत सरकार ने सभी भारतीयों से अपील कर कहा कि वह जल्द से जल्द ईरान की राजधानी तेहरान को छोड़कर कहीं सुरक्षित जगह चले जाएं. उन्होंने कहा कि स्थिति गंभीर लगी तो छात्रों को बुलाने के लिए एयरलिफ्ट का प्रयोग किया जाएगा.