भोपाल: केंद्रीय गृह और सहकारिता मंत्री अमित शाह ने वर्तमान सरकार द्वारा सहकारिता मंत्रालय की स्थापना बाद सहकारिता क्षेत्र में क्रांतिकारी बदलावों की प्रशंसा की है। मध्य प्रदेश के भोपाल में राज्य स्तरीय सहकारिता सम्मेलन को संबोधित करते हुए उन्होंने बताया कि सरकार ने किस प्रकार देश के इतिहास में पहली बार ग्रामीण विकास, कृषि और पशुपालन को एकीकृत किया। श्री अमित शाह ने सहकारी नियमों को मानकीकृत करने में केंद्र सरकार की भूमिका पर प्रकाश डाला, जिसमें सभी राज्यों ने मॉडल उपनियमों को अपनाया। उन्होंने कहा कि इससे इस क्षेत्र में नई जान आई है और सहकारी बैंक अब अल्पकालिक कृषि वित्त से आगे बढ़ रहे हैं।
श्री अमित शाह ने प्राथमिक कृषि ऋण समितियों की बढ़ती भूमिका का उल्लेख करते हुए बताया कि ये अब 20 से अधिक राज्यों में कार्यरत हैं। उन्होंने कहा कि ये समितियां कृषि वित्त से परे सेवाएं प्रदान कर रही हैं, जिसमें दवाइयां बेचना और पानी का वितरण शामिल है।
मध्य प्रदेश दुग्ध संघ और राष्ट्रीय डेयरी विकास बोर्ड के बीच एक समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किए गए। इसके तहत राज्य में दुग्ध सहकारी समितियों की संख्या छह हजार से बढ़ाकर नौ हजार करने की योजना है।
सम्मेलन की अध्यक्षता मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने की। इस कार्यक्रम में मध्य प्रदेश के सहकारिता मंत्री विश्वास सारंग, पशुपालन तथा डेयरी विकास मंत्री लखन पटेल और कई वरिष्ठ अधिकारी मौजूद थे।