नई दिल्ली: गुजरात के अहमदाबाद में गुरुवार को एक बड़ा विमान हादसा हो गया, यहां एयर इंडिया का विमान क्रैश हो गया। विमान में सवार सभी 241 पैसेंजर्स की मौत हो गई। विमान में सवार गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी का भी निधन हो गया है। यह देश का अब तक का सबसे बड़ा विमान हादसा है, जिसमें इतनी बड़ी संख्या में लोगों ने जान गंवाई है। हादसे में रमेश विश्वास कुमार नाम के एक शख्स की जान बच गई है। इसे ईश्वर का चमत्कार माना जा रहा है।
हादसे की दर्दनाक और भयानक तस्वीरें और वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हैं। यह दुर्घटना अहमदाबाद के मेघानीनगर इलाके के पास हुई। विमान टेक-ऑफ के बाद क्रैश हुआ है। प्लेन के क्रैश होने के तुरंत बाद घटनास्थल से आसमान में काला धुंआ उठता हुआ देखा गया है।
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा, ‘इस विमान में कुल मिलाकर देश और विदेश के 230 यात्री और 12 क्रू मेंबर सवार थे। इसमें से 1 यात्री के बचने का अच्छा समाचार मिला है। मैं उनको मिलकर आया हूं। मृत्यु का आकड़ा DNA परीक्षण और यात्रियों की पहचान के बाद ही अधिकृत रूप से जारी होगा। घटना के तुरंत बार गुजरात सरकार ने आपदा प्रबंधन की सारी इकाइयों को अलर्ट करते हुए मिलकर राहत बचाव का कार्य चालू किया। विमान में सवा लाख लीटर ईंधन था। जिससे तापमान इतना ऊंचा हो गया कि किसी को बचाने का मौका ही नहीं मिला। सभी यात्रियों के शव को निकालने का काम लगभग पूरा हो चुका है। जितने यात्रियों के परिजन पहुंच गए हैं उनका DNA लेने का काम भी 2-3 घंटे में पूरा हो जाएगा। जिनके परिजन विदेश में हैं उनको सूचित कर दिया गया है।’
एयर इंडिया की ये बोइंग 737 पैसेंजर फ्लाइट थी। फ्लाइट अहमदाबाद एयरपोर्ट से लंदन के लिए रवाना हो रही थी। प्लेन क्रैश होने के बाद फायर ब्रिगेड की कई गाड़ियां मौके पर पहुंची। राहत और बचाव का काम किया जा रहा है।
एयर इंडिया ने अपने पोस्ट में कहा, ‘अहमदाबाद से 13:38 बजे रवाना हुई इस फ्लाइट में 242 यात्री और चालक दल के सदस्य सवार थे। इनमें से 169 भारतीय, 53 ब्रिटिश, 1 कनाडाई और 7 पुर्तगाली नागरिक हैं।’ एयर इंडिया ने अपने पोस्ट में बताया, ‘हमने अधिक जानकारी प्रदान करने के लिए एक समर्पित यात्री हॉटलाइन नंबर 1800 5691 444 भी स्थापित किया है। एयर इंडिया इस घटना की जांच कर रहे अधिकारियों को अपना पूरा सहयोग दे रही है।’
इंडियन आर्मी ने संभाला मोर्चा
अहमदाबाद के पास एयर इंडिया के विमान के दुर्घटनाग्रस्त होने के बाद चल रहे मानवीय सहायता और आपदा राहत (HADR) प्रयासों में नागरिक प्रशासन की सहायता के लिए लगभग 130 कर्मियों वाली भारतीय सेना की टीमें तैनात की गई हैं। भारतीय सेना की प्रतिक्रिया में मलबा हटाने के लिए जेसीबी के साथ इंजीनियरिंग टीमें, डॉक्टरों और पैरामेडिक्स वाली मेडिकल टीमें, त्वरित कार्रवाई दल (QAT), अग्निशामक यंत्रों और पानी के बाउजर के साथ अग्निशमन संपत्तियां और साइट प्रबंधन के लिए प्रोवोस्ट स्टाफ शामिल हैं। सैन्य अस्पताल को भी स्टैंडबाय पर रखा गया है।